KORBA :खाद्य सुरक्षा विभाग की सैंपलिंग बनी औपचारिकता !रक्षाबंधन के दौरान लिए नमूनों की लैब से 2 माह बाद भी नहीं आई रिपोर्ट ,दीपावली के लिए सैम्पलिंग में जुटा विभाग

कोरबा। खाद्य सुरक्षा विभाग द्वारा विभिन्न पर्वों तीज त्योहारों के बीच मिलावटी एवं दूषित खाद्य पदार्थों की बिक्री रोकने लोगों को गुणवत्ता युक्त खाद्य पदार्थ सुनिश्चित कराने मिठाई दुकानों समेत तमाम खाद्य प्रतिष्ठानों में जांच कर नमूने लिए जाने की प्रक्रिया महज औपचारिकता बनकर रह गई है। जी हाँ ऐसा हम इसलिए कह रहे हैं कि क्योंकि रक्षाबंधन पर्व के दौरान अगस्त माह में खाद्य प्रतिष्ठानों से लिए गए मिठाई, सूजी ,खोवा के नमूनों की रिपोर्ट फूड टेस्टिंग लेबोरेट्री (खाद्य परीक्षण प्रयोगशाला ) रायपुर से 2 माह बाद भी नहीं आ सकी । अब विभाग ने दीपावली से पहले मिलावटी और कालातीत सामाग्रियों की बिक्री पर अंकुश लगाने के लिए फिर जांच कर सैंपल लेने के काम शुरू कर दिया है।

खाद्य एवं औषधि विभाग की ओर से जुलाई में कुछ दुकानों में दबिश देकर पनीर और खोवा का सैंपल लिए गया था। एक दुकान से लगभग दो क्विंटल खोवा में मिलावट के संदेह पर सीज किया गया था। इसकी कीमत लगभग 30 हजार रुपए है। वहीं अगस्त माह में बने खाबो अउ बने रहिबो के अंतर्गत अभियान चलाकर लगभग दो दर्जन से अधिक दुकानों में दबिश देकर खाद्य सामाग्रियों के सैंपल लिए गए थे। इसकी सैंपल जांच के लिए रायपुर मुख्यालय भेजा गया था। लेकिन खोवा के साथ ही जुलाई और अगस्त माह में लिए गए अधिकांश खाद्य सामाग्रियों के सैंपल की रिपोर्ट अभी तक नहीं आई है। विभाग को रिपोर्ट का इंतजार है। सामाग्रियों में मिलावटी की पुष्टि होने पर संबंधित क्षेत्र के एडीएम कोर्ट में केस लगाया जाएगा। त्योहारी सीजन की शुरूआत हो गई है। लोग दशहरा के बाद दीपावली पर्व को खास बनाने तैयारी में जुट गए हैं। जिससे बाजारों में रौनक आ गई है। जहां बाजार जेवर, कपड़े व सजावटी सामानों से सज गई है, वहीं खाद्य पदार्थ की बिक्री ने भी रफ्तार पकड़ ली है। त्योहारी सीजन के आते ही कई दुकानदार मिलावटी सामान को खपाने की तैयारी में जुट जाते हैं, इसका सीधा असर सेहत पर पड़ता है। इसकी रोकथाम के लिए खाद्य व सुरक्षा विभाग की ओर से अभियान चलाया जाता है। दशहरा के पखवाड़े भर बाद दीपावली का पर्व है। ऐसे में मिलावटी सामान की बिक्री न हो, इसके लिए खाद्य व सुरक्षा विभाग ने एक बार फिर अभियान छेड़ दिया है। मगर जांच रिपोर्ट आने में देरी हो रही है।