सिस्टम को सुप्रीम कोर्ट की नहीं परवाह ,13 लाख के शासकीय तालाब को राखड़ से पाटने वाले दोषियों को अभयदान !
जांच पूरी होने के लगभग 2 माह बाद भी कार्रवाई नहीं होने से उठ रहे सवाल

कोरबा ।आदिवासी बाहुल्य कोरबा जिले में न केवल सुप्रीम कोर्ट के गाईडलाइन्स की धज्जियां उड़ गई है वरन 12 लाख 81 हजार रुपए की लागत से मनरेगा शासकीय तालाब को राखड़ से पाटने वाले गुनहगार भी बेख़ौफ होकर सिस्टम का माख़ौल उड़ा रहे। जांच प्रतिवेदन के बाद दोषियों पर कार्रवाई की गाज नहीं करने से तरह तरह के सवाल उठ रहे।

सुप्रीम कोर्ट का साफ निर्देश है कि ताल-तलैया, पोखर को किसी भी हालत में खत्म नहीं किया जा सकता, क्योंकि यही जल संचय के साधन हैं। इधर छत्तीसगढ़ के कोरबा जिले में सुप्रीम कोर्ट के आदेश को चुनौती देते हुए मनरेगा के तालाब को ही राख से पाट कर फिर मिट्टी डालकर खत्म कर दिया गया। इसके जिम्मेदार बेनकाब हो चुके हैं लेकिन सरकारी जमीन पर मनरेगा की राशि से बने सरकारी तालाब को पाटने वाले ठेकेदार से लेकर सरपंच-सचिव,रोजगार सहायक से व अन्य कई प्रत्यक्ष/अप्रत्यक्ष जिम्मेदारों पर दिखाई जा रही रहमदिली समझ से परे है। जरा सी बात पर ज्यादा मुखर होने वाले विधायक ननकीराम कंवर से लेकर तमाम तरह के नेता/जनप्रतिनिधि, जनपद व पंचायत प्रतिनिधि/सदस्य,पदाधिकारी भी गहरी खामोशी में हैं।बता दें कि कोरबा जिले के विकासखंड कोरबा अंतर्गत ग्राम पंचायत बरीडीह के ग्राम बरीडीह के धनवार पारा में मनरेगा योजना के तहत वर्ष 2016-17 में तालाब का निर्माण स्वीकृत हुआ था। 12 लाख 81 हजार 700 रुपए की स्वीकृत राशि के साथ 30 दिसंबर 2016 को आदेश जारी हुआ। 23 जनवरी 2019 को कार्य प्रारंभ होकर 29 जून 2019 को कार्य पूर्ण हुआ जिसमें श्रमिक लागत 12 लाख 57 हजार 410 रुपए आई। 1700 मीटर लंबाई-चौड़ाई क्षेत्रफल में निर्मित इस तालाब को सुप्रीम कोर्ट की गाइडलाइन के विपरीत जाकर राखड़ से पाट दिया गया है।

कार्रवाई न एफआईआर,मंसूबे में दलाल सफल!

मनरेगा के तालाब को पाटने/पटवाने के मामले में कलेक्टर/जिला पंचायत सीईओ के निर्देश पर कोरबा जनपद के सीईओ जीके मिश्रा, जिला पंचायत से परियोजना अधिकारी बीपी भारद्वाज, आरईएस के एसडीओ श्री साहू, उपयंत्री दिनेश कुमार साहू एवं कोरबा जनपद से करारोपण अधिकारी श्री चतुरानन ने मौका मुआयना किया तो यहां तालाब की शिलापट्टिका जरूर मिली लेकिन तालाब का नामोनिशान मिट चुका था। टीम ने इस मनरेगा तालाब को राख से पाटना प्रमाणित किया। कार्यवाही की अनुशंसा कर बड़ी जल्द दोनों जांच रिपोर्ट जिला सीईओ को सौंप दी गयी। जांच प्रतिवेदन में सरपंच और रोजगार सहायक को बर्खास्त करने एवं सचिव पर निलंबन की अनुशंसा की गई है लेकिन ठेकेदार । दूसरी ओर इस मामले को दबाने/ रफा-दफा कराने के मंसूबे में कुछ नेता नुमा दलाल सफल हुए हैं। इनके द्वारा संबंधित ठेकेदार जिसने राख फिंकवाया है, उसे बचाने के लिए जोर लगाया गया है जबकि वह एफआईआर का हकदार है।

कहीं का आदेश कहीं बिठा दिया ठेकेदार ने

गांव बरीडीह में रेत के चोरों ने स्थानीय राजनीतिक संरक्षण में अवैध खनन कर 3-4 बड़े-बड़े डबरीनुमा गड्ढे बना दिये थे। इसमें भरे पानी में बच्चों की मौत के बाद गड्ढों को पटवाने के लिए 29 जनवरी 2021 को ग्राम सभा में प्रस्ताव पारित कराया गया । तत्कालीन कोरबा एसडीएम सुनील कुमार नायक एवं क्षेत्रीय पर्यावरण संरक्षण मंडल अधिकारी द्वारा पंचायत भवन के आसपास एवं धनवार पारा के गड्ढों को पाटने की अनुमति 17 जुलाई 2021 को दी गई थी जिसका दायरा न जाने क्यों ज्यादा लिखा गया। इस अनुमति का दुरुपयोग कर व ग्राम पंचायत की शह पर लैंको के ठेकेदार को लाभ पहुंचाने तालाब को ही पटवा दिया गया। सरपंच-सचिव ने जानते हुए भी नियमों का उल्लंघन किया वहीं रोजगार सहायक ने भी अपनी जिम्मेदारी से मुंह मोड़ा। सरपंच कृपाल सिंह, सचिव गजराज सिंह तथा रोजगार सहायक सहित मनरेगा के जवाबदार लोगों की जानकारी में तालाब को पाटा गया। जांच होने उपरांत भी कोई रोक नहीं लगी बल्कि ऊपर मिट्टी पाटी जाती रही।

पुराने संभल नहीं रहे, नए योजना पर होंगे करोड़ों खर्च

अभी मनरेगा से हर जिले में कम से कम 75 नए तालाब अथवा पुनःउद्धार का काम मिशन अमृत सरोवर योजना के तहत किया जाना है। वर्षा जल का संचय करने के मद्देनजर यह कार्य होगा जिसके लिए मनरेगा आयुक्त मोहम्मद कैसर अब्दुल हक ने निर्देश जारी किए हैं। प्रत्येक तालाब के लिए जल उपभोक्ता समूह भी बनाया जाएगा। इधर शासन के निर्देशानुसार नगरीय निकाय क्षेत्रों में भी तालाबों के निर्माण कार्य कराए जाने हैं। अब पहले से निर्मित तालाबों की देखरेख और संरक्षण पर काम हकीकत में नहीं हो रहा। तालाब,नदी-नाले रेत, मुरूम, मिट्टी के अवैध खननकर्ताओं व राख ठेकेदारों के निशाने पर हैं। किसी एक तालाब के ऐसे में तालाबों का निर्माण/उद्धार में करोड़ों रुपए फिर से खर्च करने की योजना आखिर किस हद तक अपनी मंशा को पूर्ण करने में सफलीभूत होगी,यह आने वाला वक्त बताएगा।