जब तक एसईसीएल नहीं देगा मुआवजा ,तब तक किसान बेचेंगे धान

हसदेव एक्सप्रेस ने लौटाई 27 किसानों के चेहरे की हंसी,कलेक्टर की पहल पर भुईयाँ पोर्टल में सुधार कर किया गया पंजीयन

हसदेव एक्सप्रेस न्यूज कोरबा (भुवनेश्वर महतो ) । 1 दिसंबर से शुरू होने जा रही धान खरीदी अभियान में दुरपा समिति के अंतर्गत आने वाले सोनपुरी गाँव के 27 किसान अपना धान बेच सकेंगे । हसदेव एक्सप्रेस डॉट कॉम द्वारा ध्यान आकृष्ट कराए जाने के बाद स्वंय कलेक्टर किरण कौशल ने इस दिशा में सार्थक पहल की । कलेक्टर के निर्देश पर एसईसीएल के अर्जित गाँव में आने वाले इन किसानों के लिए भुईयाँ पोर्टल में सुधार कर पंजीयन कर दिया गया है । अब किसान अपने खून पसीने से उपार्जित धान को समर्थन मूल्य पर शासन की धान खरीदी नीति के तहत बेच सकेंगे ।

राज्य शासन इस साल भी 2500 प्रति क्विंटल समर्थन मूल्य की दर से धान खरीदी करेगी । 1 दिसम्बर से धान खरीदी किए जाने की तैयारी चल रही है । राज्य शासन ने इस साल धान खरीदी को पारदर्शिता पूर्ण बनाने इस साल भुंईयाँ पोर्टल के माध्यम से धान खरीदी करने का निर्णय लिया है । साफ्टवेयर के माध्यम से धान खरीदी न कर ऑनलाइन धान खरीदी सोसायटी मॉड्यूल में किया जाना है । भुईयाँ पोर्टल में प्रविष्ट रकबा और गिरदावली से सत्यापित रकबा का मिलान कर धान खरीदी के लिए पंजीयन की व्यवस्था की गई है । लेकिन पोर्टल से रकबा सत्यापन के दौरान दूरपा समिति के सोनपुरी गांव के 27 किसानों का पंजीयन निरस्त हो गया था । दरअसल इस गांव के किसानों की भूमि एसईसीएल द्वारा परियोजना के विस्तार के लिए अर्जित की गई है । लेकिन दशकों हो गए उक्त भूमि का मुआवजा एसईसीएल ने प्रभावित किसानों को नहीं दिया है । मात्र धारा 4 का प्रकाशन किया गया है । जमीन अधिग्रहण विस्थापन की प्रक्रिया लटकी हुई है । जिसकी वजह से प्रभावित किसान अपनी अर्जित भूमि पर दशकों से खेती करते आ रहे थे । इस साल धान खरीदी का कार्य साफ्टवेयर के माध्यम से न कर ऑनलाइन सोसायटी मॉड्यूल में किए जाने के बदलाव ने किसानों को पंजीयन से अपात्र कर दिया था । भुईयाँ पोर्टल से पंजीकृत रकबे की सोसायटी मॉड्यूल में खसरा एंट्री के दौरान पंजीकृत रकबा एसईसीएल द्वारा अर्जित भूमि के रूप में प्रदर्शित हो रहा था । जिससे सभी किसानों का पंजीयन निरस्त हो गया था । इससे किसान परेशान हो गए थे । किसानों ने खाद बीज के लिए समिति से लाखों रूपए का कर्ज ले रखा था । लिहाजा धान बेचने से अपात्र ठहराए जाने के बाद न केवल किसानों के समक्ष जीविकोपार्जन का संकट उत्पन्न हो गया था ,वरन कर्ज लौटाने की भी चुनौती खड़ी हो गई थी । एसईसीएल से मुआवजा की राशि का भुगतान किए बगैर धान बेचने से अपात्र किए गए किसानों की समस्या को हसदेव एक्सप्रेस डाँट काम ने प्रमुखता से 26 अक्टूबर के अंक में उठाया था । जिसके बाद न केवल जनप्रतिनिधि बल्कि जिला प्रशासन भी हरकत में आया । कलेक्टर किरण कौशल ने मामले में संवेदनशीलता दिखाते हुए उप पंजीयक सहकारी संस्थाएं बसंत कुमार ,एवं कटघोरा एसडीएम अभिषेक शर्मा को तत्काल आवश्यक पहल करने के निर्देश दिए थे । जिसके बाद कटघोरा तहसीलदार रोहित कुमार द्वारा भुईयाँ पोर्टल में संसोधन कराकर अर्जित भूमि के खसरे में किसानों का नाम प्रविष्ट किया गया । डाटा सुधार के बाद भुईयाँ पोर्टल से किसानों का पंजीयन का कार्य पूरा हो गया है । सभी किसान अब शासन को समर्थन मूल्य पर अपना धान बेच सकेंगे ।

विधायक ने कहा था नहीं होने देंगे अन्याय

मामले की जानकारी मिलते ही कटघोरा विधानसभा क्षेत्र के विधायक पुरषोत्तम कंवर कलेक्टर से मिले थे । उन्होंने दो टूक लहजे में कह दिया अगर किसानों को एसईसीएल से मुआवजा नहीं मिला है तो धान खरीदी पंजीयन से अपात्र किया जाना न्यायसंगत नहीं है । जब तक पूरी मुआवजा राशि नहीं मिल जाती सभी किसानों का ऑनलाइन पंजीयन कराकर उन्हें शासन की धान खरीदी योजना में धान बेचने का अवसर प्रदान करें । किसानों के साथ अन्याय नहीं होने दिया जाएगा । जिला पंचायत सदस्य श्रीमती रीना अजय जायसवाल ने भी सार्थक पहल की थी । जिसके बाद कलेक्टर श्रीमती कौशल ने राजस्व अमले को आवश्यक प्रक्रिया पूरी करने के निर्देश दिए थे ।

किसानों ने जताया आभार

धान खरीदी के लिए किसान पंजीयन होने पर प्रभावित किसानों के चेहरे में खुशियां लौट आई है । किसान मन्द्राज सिंह ,होरी सिंह ,ध्रुव कुमार ,रामसिंह ,रायसिंह ,अंजोरसाय , रामसाय, भरत लाल ,शांति दास ,पंचराम पटेल असमनलाल ,मिठ्ठूराम ,हरप्रताप सिंह ,अन्नुराम ,गुहादास ,गनपत लाल बीरसिंह ,फिरतराम एवं गेंदराम ने इस पहल पर प्रसन्नता जताते हुए हसदेव एक्सप्रेस के साथ साथ कलेक्टर ,विधायक जिला पंचायत सदस्य का आभार जताया है

वर्जन

पंजीयन हो गया है

भुईयाँ पोर्टल सुधार के बाद प्रभावित किसानों का पंजीयन का कार्य पूरा कर लिया गया है । सभी किसान शासन को समर्थन मूल्य पर अपना धान बेचने के लिए पात्र और स्वतंत्र हैं ।

एस. के. जोशी ,नोडल अधिकारी, जिला सहकारी बैंक