जिसे जिताया उसी ने किया जीना दुश्वार ! भाजपा पार्षद की धमकी से भयभीत कार्यकर्ता का परिवार ,पीएम आवास के हितग्राही से मांग रहीं 50 हजार

कोरबा। नगर पालिका परिषद कटघोरा वार्ड क्र.-04 संतोषी मंदिर के पास के निवासी गोपेन्द्र कुमार पाण्डेय एवं उनकी धर्मपत्नी श्रीमती मेघा पाण्डेय ने तिलक भवन प्रेस क्लब में आयोजित पत्रकार वार्ता में आरोप लगाते हुए कहा कि वार्ड पार्षद श्रीमती अर्चना अग्रवाल द्वारा भयादोहन किया जा रहा है और प्रताड़ित करने के उद्देश्य से कार्यपालिक दण्डाधिकारी के न्यायालय में बार-बार शिकायत कर मुझे परेशान किया जा रहा है।

श्री पाण्डेय ने आरोप लगाया कि श्रीमती अर्चना अग्रवाल द्वारा बेजा कब्जा में निर्माण कार्य करा रहे हो, की धमकी देते हुए 50 हजार रूपए की मांग की और 50 हजार न दे पाने के कारण उन्होंने तहसील ऑफीस में मेरे विरूद्ध शिकायत की। तहसीलदार न्यायालय से स्टे लगा दिया गया और मेरा पक्ष सुनने के बाद तहसीलदार ने स्टे हटा दिया। सीमांकन में हमारी पैतृक भूमि खसरा नंबर 800, 801/3 कुल रकबा 26 डिसमिल में नगर पालिका परिषद कटघोरा द्वारा पूर्व पार्षद पवन अग्रवाल के कार्यकाल में प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत आवास स्वीकृत हुआ था और मुझे एक किस्त देकर वर्तमान पार्षद श्रीमती अग्रवाल ने सीएमओ को बोलकर किस्त भी रूकवा दी, जबकि मेरा घर पूर्णता की ओर है।
श्री पाण्डेय ने कहा कि तहसीलदार कटघोरा द्वारा स्टे हटाने के बाद श्रीमती अग्रवाल ने नगर पालिका कटघोरा में जनप्रतिनिधि हूं, कहकर नगर पालिका की तरफ से फिर से बेजा कब्जा कहकर तहसील ऑफिस में फिर से शिकायत कर दी है। एक बार तहसीलदार द्वारा स्टे हटाने के बाद अर्चना अग्रवाल द्वारा मुझे प्रताड़ित किया जा रहा है। श्री पाण्डेय का आरोप है कि मेरे भाई राघवेन्द्र कुमार पाण्डेय ने श्रीमती अग्रवाल को एक ट्रैक्टर ईंट, 10 बोरी सीमेंट हैसियत के अनुसार दिया था, लेकिन जबतक 50 हजार नहीं दोगे, मैं तुम लोगों को छोड़ूंगी नहीं, कहकर बार-बार शिकायत कर रही हैं, जिसके कारण मैं मेरा परिवार, बूढ़े माता-पिता मानसिक रूप से प्रताड़ित हैं। श्री पाण्डेय ने कहा कि श्रीमती अर्चना अग्रवाल की धमकी से हम भयभीत और डरे हुए हैं।
श्री पाण्डेय ने बताया कि भाजपा नेत्री होने के कारण वे बड़े नेताओं से फोन करा कर हमें भयभीत कर रहीं हैं। कटघोरा थाने में भयादोहन और प्रताड़ना की शिकायत गत 29 अगस्त को की गई है, लेकिन कटघोरा थाना द्वारा न्याय न मिलने के कारण 10 सितंबर को एसपी कार्यालय में भी गुहार लगाते हुए आवेदन दिया गया है। उन्होंने कहा कि न्याय न मिलने के कारण मैंने प्रेस की शरण ली और श्रीमती अर्चना अग्रवाल द्वारा गरीब परिवार को प्रताड़ित किए जाने से तंग आकर मैंने उनके कारनामों का खुलासा किया। उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि मेरे एक और रिश्तेदार की जमीन जो तालाब के किनारे में है, उसकी जमीन को तालाब में है कहकर औने-पौने दाम में अपने परिचित के पास बिकवा दी।
श्री पाण्डेय ने कहा कि श्रीमती अर्चना अग्रवाल को जिताने में हमने पूरा सहयोग किया और मैं भी भाजपा का अदना सा कार्यकर्ता हूं और उनके द्वारा मेरे ही परिवार को प्रताड़ित किया जा रहा है। गरीब ब्राम्हण सोचकर कटघोरा विधायक प्रेमचंद पटेल ने मुझे स्वेच्छानुदान से 5 हजार की राशि भी प्रदान की है। जब भाजपा के शासन काल में भाजपा कार्यकर्ता ही परेशान है और न्याय नहीं मिल रहा है, तो आखिर हमारे जैसे प्रताड़ित कार्यकर्ता जाएं तो जाएं कहाँ?