कोविड संक्रमण की रोकथाम के लिए शहरी और ग्रामीण क्षेत्रों में हो बराबर फोकस-कलेक्टर भीम सिंह

कलेक्टर भीम सिंह ने ली समय-सीमा की बैठक


रायगढ़,  कलेक्टर श्री सिंह ने आज वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग से समय सीमा की बैठक ली। बैठक में उन्होंने जिले में कोविड संक्रमण की रोकथाम और संक्रमित मरीजों की उपचार व्यवस्था से जुड़े सभी पहलुओं की विस्तार से समीक्षा की। उन्होंने कहा कि संक्रमण की रोकथाम के लिए शहरी के साथ ग्रामीण क्षेत्रों में बराबर फोकस रखना है। ग्रामीण क्षेत्रों में भी लॉकडाउन का सख्ती से पालन हो। उन्होंने सारंगढ़ क्षेत्र में मरीजों की बढ़ती संख्या को देखते हुए वहां के प्रशासनिक अमले को लॉकडाउन का सख्ती से पालन करवाने के निर्देश दिए। उन्होंने अनावश्यक बाहर घुमने फिरने वालों पर कड़ी कार्यवाही करने के लिये कहा। ग्रामीण क्षेत्रों में लाऊडस्पीकर के माध्यम कोरोना गाइडलाइन्स का प्रचार-प्रसार करने और उसका पालन सुनिश्चित करवाने के निर्देश दिए। इसके साथ ही उन्होंने सीएमएचओ डॉ.केशरी को जिले के ग्रामीण इलाकों में से यदि कोई गांव हॉट-स्पॉट बन रहा है तो उस पर विशेष नजर रखने और वहां ज्यादा से ज्यादा लोगों की टेस्टिंग करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा की शहरी के साथ ग्रामीण क्षेत्रों में भी संक्रमण की रफ्तार रोकने के लिये पूरी सतर्कता से काम करना होगा।
उन्होंने जिले में शासकीय अस्पतालों और कोविड केयर सेंटर के साथ निजी हॉस्पिटल्स में भी ऑक्सीजन बेड बढ़ाने के लिए कहा। सीएमएचओ ने बताया कि सारंगढ़ में राधा कृष्ण हॉस्पिटल्स में अब 40 बेड चालू कर दिया गया है। जिसमें से 32 ऑक्सीजन, 6 आईसीयू और 2 वेंटीलेटर बेड हैं। इसी प्रकार एसआरएम हॉस्पिटल द्वारा शुक्ला मैरीज पैलेस सारंगढ़ में 15 आक्सीजन बेड शुरू कर दिए हैं। इसके साथ ही लैलूंगा में 20, लोइंग में 30 और तमनार के जिंदल अस्पताल में 15 ऑक्सीजन बेड शुरू कर दिए गए हैं। कलेक्टर श्री सिंह ने बताया कि ऑक्सीजन बेड बढ़ाने के साथ आवश्यक उपकरणों की व्यवस्था भी तेजी से की जा रही हैं। डीएमएफ व सीएसआर से बाईपेप मशीन, वेंटीलेटर और ऑक्सीजन कंसेंनट्रेटर की व्यवस्था की जा रही है। इन्हें रायगढ़ शहर के शासकीय कोविड अस्पतालों के साथ ही सारंगढ़, खरसिया, धर्मजयगढ़ और लैलूंगा के कोविड अस्पतालों में भी उपलब्ध कराये जायेंगे। जिससे विकासखंड स्तर पर भी आवश्यक उपकरणों की सुविधा मरीजों को मिल सके।


24 घंटे में ट्रूनाट और 48 घंटे में आरटीपीसीआर रिपोर्ट देने की बनाये व्यवस्था


कलेक्टर श्री सिंह ने स्वास्थ्य अमले से कहा कि सैंपलिंग के बाद आरटीपीसीआर टेस्ट की रिपोर्ट 48 घंटे और ट्रूनाट की रिपोर्ट 24 घंटे के अंदर देने की व्यवस्था बनाये। लक्षणयुक्त तथा गंभीर मरीजों के साथ संक्रमित के प्राइमरी कांटेक्ट की टेस्ट रिपोर्ट जल्द तैयार करें।


टेस्टिंग के पहले फोन नंबर की करें जांच


कलेक्टर श्री सिंह ने पॉजिटिव रिपोर्ट आने के बाद मरीजों से जल्द से जल्द संपर्क कर उन्हें होम आइसोलेशन या अस्पताल शिफ्टिंग का काम जल्द करने के लिये कहा। मरीजों के हॉस्पिटल शिफ्टिंग कार्य की मॉनिटरिंग के लिये डिप्टी कलेक्टर स्तर के अधिकारी की ड्यूटी लगाने के निर्देश दिए।  होम आइसोलेटेड मरीजों की अधिक संख्या को देखते हुए उनके नियमित फॉलोअप करने के लिये डॉक्टर्स की संख्या बढाने के लिये कहा। इस बीच कई मरीजों द्वारा टेस्टिंग के दौरान सही नंबर नहीं दिए जाने की बात सामने आई। इसके लिये कलेक्टर श्री सिंह ने दूसरे विभागों से कर्मचारियों की ड्यूटी टेस्टिंग सेंटर में लगाने के लिये कहा। जिनका काम टेस्टिंग करवाने आये व्यक्ति के फोन नंबर पर डायल कर के यह देखना होगा कि नंबर सही है और टेस्टिंग कराने वाले व्यक्ति से संबंधित है। इससे बाद में पॉजिटिव आने के बाद नंबर गलत होने से मरीज को खोजने वाली मशक्कत नहीं करनी पड़ेगी। कलेक्टर श्री सिंह ने कहा कि कोविड का उपचार कर रहे निजी अस्पतालों में डॉ.खूबचंद बघेल और आयुष्मान भारत योजना के हितग्राहियों से निर्देशानुसार शुल्क लिया जाये। इसकी जांच करते रहने के निर्देश स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों को दिए। इसके साथ ही निजी अस्पतालों की मॉनिटरिंग करने और ऑक्सीजन बेड अलॉटमेंट की जांच करने के निर्देश दिए।
सभी मितानिनों के पास हो ऑक्सीमीटर और दवाइयों का किट
कलेक्टर श्री सिंह ने गांवों में मितानिनों को पल्स ऑक्सीमीटर और लक्षणयुक्त मरीजों के लिए दवाइयों के किट वितरण की समीक्षा की। सीएमएचओ डॉ. केशरी ने बताया कि किट तैयार करवा कर बीएमओ के माध्यम से बंटवाया जा रहा है। जिससे गाँव में लक्षणयुक्त व्यक्ति का ऑक्सीजन मापन होता रहे और रिपोर्ट नहीं मिलने की स्थिति में दवाइयों को लेना चालू कर सके। उन्होंने शहरी क्षेत्रों के लिये भी ऐसी व्यवस्था करने के निर्देश दिए। साथ ही ऑक्सीमीटर की और जरूरत होने पर डीएमएफ  के माध्यम से तत्काल खरीदा जाए। इस बीच मेडिकल में ऑक्सीमीटर के तिगुने-चौगुने दामों पर बिकने की बातें सामने आई। इस पर कलेक्टर श्री सिंह ने सभी एसडीएम को इसकी जांच करने और अधिक दाम पर बेचते पाए जाने पर कार्यवाही करने के निर्देश दिए। बैठक में कलेक्टर श्री सिंह ने रेमडेसिवीर इंजेक्शन की शासन स्तर से आपूर्ति व उसके अस्पतालों में वितरण व्यवस्था की समीक्षा की। बताया गया कि सहायक संचालक ड्रग कंट्रोलर के माध्यम से दवा का वितरण होता है। कलेक्टर श्री सिंह ने इस कार्य में उप संचालक समाज कल्याण की ड्यूटी लगाते हुए उन्हें निर्देशित किया कि दवा की आपूर्ति और उसके वितरण की व्यवस्था की पूरी अपडेटेड जानकारी तैयार कर रोज प्रस्तुत करेंगे। उन्होंने कहा कि अस्पतालों में सप्लाई होने वाली दवा का मरीजवार ऑडिट भी किया जायेगा।


अन्तर्राज्यीय बॉर्डर्स पर लगाए टेस्टिंग टीम


कलेक्टर श्री सिंह ने सभी अंतर्राज्यीय चेक पोस्ट पर टेस्टिंग टीम तैनात करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि शासन के निर्देश हैं बिना नेगेटिव टेस्ट रिपोर्ट के कोई जिले की सीमा में प्रवेश नहीं कर सकता। अत: इसका कड़ाई से पालन होना चाहिए। उन्होंने इन चेक पोस्ट के पास के गावों में बड़े भवन चिन्हांकित कर उसे क्वारेंटीन सेंटर के रूप में तैयार करने के निर्देश सीईओ जिला पंचायत को दिए। इसके साथ ही उन्होंने बस स्टैंड में भी नियमित टेस्टिंग करने के लिये निर्देशित किया। बहार से आने वाले श्रमिकों की संख्या बढऩे पर शहर में बड़े भवनों को चिन्हांकित कर वहां सभी जरुरी सुविधाओं की व्यवस्था करते हुए क्वारेंटीन सेंटर के रूप में तैयार करने के निर्देश नगर निगम आयुक्त श्री पाण्डेय को दिए। बैठक में कलेक्टर श्री सिंह ने कोविड गाइडलाइन्स के सख्ती से पालन करवाने के लिय जांच अभियान चलाने के निर्देश सभी एसडीएम  और पुलिस अधिकारियों को निर्देशित किया। उन्होंने कहा कि विवाह कार्यक्रमों में अनुमति से अधिक व्यक्तियों के शामिल होने की बातें आ रही हैं। विवाह की अनुमति दिए आवेदनों की सूची को पुलिस के साथ साझा करने और इन आयोजनों की जांच करने के लिये भी निर्देशित किया।  
इस दौरान एडीएम श्री राजेन्द्र कटारा, सीईओ जिला पंचायत डॉ.रवि मित्तल, डीएफओ रायगढ़ श्री प्रणय मिश्रा, डीएफओ धरमजयगढ़ श्री मणिवासगन एस, अपर कलेक्टर श्री आर.ए.कुरूवंशी, नगर निगम आयुक्त श्री आशुतोष पाण्डेय, सीएमएचओ डॉ.एस.एन.केशरी सहित जिला स्तरीय अधिकारी मौजूद रहे।