हसदेव एक्सप्रेस न्यूज कोरबा । हसदेव एक्सप्रेस न्यूज की खबर एक बार फिर रंग लाई । मुख्यमंत्री निर्धन कन्या सामूहिक विवाह योजना के अंतर्गत महिला एवं बाल विकास विभाग ने अंततः चालू वैवाहिक सीजन में ही शादी करने का निर्णय ले लिया। 21 मई को अग्रसेन भवन कोरबा में गत वर्ष प्राप्त बजट में चिन्हांकित 110 जोड़ों में से 90 जोड़ों का राजस्व मंत्री के मुख्य आतिथ्य में अग्रसेन भवन कटघोरा में सामूहिक विवाह संपन्न होगा। महिला एवं बाल विकास विभाग की सामूहिक विवाह के आयोजन में लेटलतीफी की वजह से 20 निर्धन जोड़ों ने अपने खर्च पर विवाह कर लिया।
यहां बताना होगा कि निर्धन परिवार के लिए विवाह योग्य पुत्रियों का विवाह करना काफी मुश्किल भरा कदम होता है । खासकर आजकल के महंगे परिवेश में मजदूरी कर दो जून की रोटी का जुगाड़ कर जीवन यापन करने वाले परिवार को अपनी बिटिया का हाथ पीले करने में काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ता है इन्हीं सब दिक्कतों को देखते हुए निर्धन परिवार की इस चिंता को मुक्त करने छत्तीसगढ़ सरकार ने सन 2004 से मुख्यमंत्री सामूहिक विवाह योजना शुरू की है । जिसके अंतर्गत छत्तीसगढ़ के मूल निवासी ऐसे निर्धन परिवार जिनके यहां 18 साल से अधिक आयु की विवाह योग्य कन्या है उनका विवाह सरकार अपने खर्चे पर संपन्न कराकर ऐसे परिवारों को चिंतामुक्त कर रही। बेटियों का भविष्य संवार रही। इसी कड़ी में आदिवासी बाहुल्य कोरबा जिले में भी वित्तीय वर्ष 2021 -22 में 150 जोड़ों का लक्ष्य दिया गया था। प्रति जोड़े 25 हजार की दर से 37 लाख 50 हजार का आबंटन दिया गया था। इस तय बजट में ही सामूहिक विवाह का आयोजन संपन्न कराना था। इसके लिए बकायदा सभी 10 परियोजनाओं से 18 वर्ष से अधिक आयु के अविवाहित कन्याओं के विवाह के लिए आवेदन मंगाए जाने थे । आवेदन सीधे आंगनबाड़ी कार्यकर्ता के समक्ष भी लोग प्रस्तुत कर सकते थे । लेकिन इसे बेहद ही लापरवाही भरा कहें कि महिला एवं बाल विकास विभाग वित्तीय वर्ष के समाप्ति के अंत तक तय लक्ष्य अनुरूप जोड़ों का चिन्हांकन नहीं कर सका । 150 जोड़ों के लक्ष्य में 111 पात्र जोड़े ही चिन्हांकित कर सके। उसमें भी 111 जोड़ों का 3 मई तक सामूहिक विवाह का आयोजन सुनिश्चित नहीं किया जा सका था। विभाग सामूहिक विवाह के आयोजन के लिए शुभ मुहूर्त का इंतजार कर रहा था।इस लापरवाही को लेकर हसदेव एक्सप्रेस ने 3 मई को प्रमुखता से समाचार जारी कर जिला प्रशासन का ध्यान आकृष्ट कराया था। जिसके बाद हरकत में आई और सामूहिक विवाह आयोजन की तैयारी में जुट गया। 21मई को कटघोरा के अग्रसेन भवन में राजस्व मंत्री जयसिंह अग्रवाल के मुख्य आतिथ्य में यह पुनीत आयोजन संपन्न होगा। आयोजन में क्षेत्रीय सांसद ज्योत्सना महंत सहित अधिकारी भी शामिल होंगे।
20 निर्धन जोड़ों ने कर्ज लेकर कर लिया विवाह ,समर्पित करने पड़े 15बलाख
जिस तरह गत वर्ष दिए गए 150 जोड़ों के लक्ष्य को महिला एवं बाल विकास विभाग पूरा नहीं कर सकी। महज 111 जोड़े ही चिन्हांकित कर सकी । उसमें भी आज की स्थिति में 20 जोड़ों के परिजनों ने आयोजन में लेटलतीफी को देखते हुए कर्ज लेकर विवाह कर लिया । इन लापरवाहियों की वजह से 60 जोड़ों के लिए प्राप्त आबंटन की 15 लाख की राशि शासन को समर्पित (लौटानी ) पड़ी ।
शहर के सार्वजनिक भवन को छोंड़ ,कटघोरा के सामाजिक भवन में शादी,लाखों रुपए कर रहे बर्बाद
महिला एवं बाल विकास विभाग की मुख्यमंत्री कन्या सामूहिक विवाह योजना को लेकर तरह तरह की लापरवाही सामने आ रही है। एक तो योजना का व्यापक प्रचार-प्रसार नहीं किए जाने की वजह से पर्याप्त बजट होने के बाद भी 60 जोड़े नहीं मिलने पर प्राप्त 15 लाख का आबंटन शासन को समर्पित करना पड़ा। वहीं सामूहिक विवाह का आयोजन शहर के सार्वजनिक भवनों में ना कर उपनगर कटघोरा के अग्रसेन भवन में किया जा रहा है । जहां विभाग को आयोजन संपन्न कराने के लिए राशि खर्च करनी पड़ेगी । इस तरह लाखों रुपए फिजूलखर्ची में बहाए जा रहे। जिसका असर विवाह के आयोजन व्यवस्था पर पड़ सकता है।
मिली सजा, शासन ने घटा दिए लक्ष्य ,चालू वित्तीय वर्ष में महज 60 जोड़ों का दिया लक्ष्य
गत वित्तीय वर्ष में दिए गए लक्ष्य हासिल न कर सकी महिला एवं बाल विकास विभाग कोरबा को इस साल इसकी सजा भी मिली। शासन ने वित्तीय वर्ष 2022-23 के लिए मुख्यमंत्री निर्धन कन्या सामूहिक विवाह योजना में महज 60 जोड़ों का लक्ष्य के साथ 15 लाख का बजट दिया है। वाकई ये आंकड़े आदिवासी बाहुल्य देश के 110 आकांक्षी जिलों में शामिल कोरबा के लिए निराशाजनक है।।
बढ़ानी होगी बजट ,25 हजार में शादी मुश्किल ,मिलेगी ये सामाग्री
मुख्यमंत्री कन्या सामूहिक विवाह योजना में प्रति जोड़ें 25 हजार रुपए बजट का प्रावधान सुनिश्चित किया गया है । इतनी कम राशि में बेटियों का विवाह कर पाना मुश्किल होता है हालांकि संख्या अधिक होने की वजह से कुछ आसानी जरूर होती है लेकिन बढ़ती महंगाई में यह बजट नाकाफी साबित हो रही है ।प्रति जोड़े 25 हजार के बजट में 19 हजार रुपए उपहार , 5 हजार आयोजन व्यय , एवं 1 हजार रुपए वर-वधू को चेक दिया जाता है । जो नाकाफी है निश्चित तौर पर उक्त बजट में एमपी की तरह बढ़ोत्तरी होनी चाहिए।