रायपुर । छत्तीसगढ़ में नई सरकार आने के बाद हाफ बिजली बिल योजना की जगह दूसरी राहतों पर विचार शुरू हो गया है। एक तरह से योजना का स्वरूप बदल जाएगा। इसमें BPL और कम बिजली खपत वाले उपभोक्ताओं के लिए अलग-अलग स्लैब बन सकता है। बिजली कंपनी के अधिकारियों ने भी नया मसौदा बनाना शुरू कर दिया है।
नए मसौदे में किन-किन बातों को शामिल किया जाएगा? किन-किन वर्गों के उपभोक्ताओं को राहत दी जाएगी? घाटे से उबरने का क्या प्लान होगा? इन बिंदुओं पर पिछले दिनों एमडी स्तर के अधिकारियों की बैठक हुई।
कंपनी को घाटे से उबारने बिजली दरों में बढ़ोतरी पर चर्चा
प्रपोजल में योजना के तहत बीपीएल और कम खपत वाले उपभोक्ताओं के लिए राहत के पैकेज के साथ VCA (Variable Cost Adjustment) चार्ज को शामिल करने का जिक्र है। इसके साथ ही बिजली कंपनी को घाटे से उबारने के लिए बिजली दरों बढ़ोतरी करने पर भी चर्चा हुई है।
इस चर्चा के आधार पर कुछ पॉइंट्स तय किए गए हैं और इन्हें प्रस्ताव में शामिल करने के लिए कहा गया है। प्रपोजल पर अंतिम मुहर शासन लगाएगा। बिजली कंपनी के सूत्रों के मुताबिक प्रस्ताव में बिजली दर बढ़ाने के लिए 2022 में बिजली नियामक आयोग को भेजे गए प्रस्ताव का हवाला दिया गया है।
विजय शर्मा ने दिया था योजना बंद करने का बयान
बिजली कंपनी के अधिकारी ये सब कवायद इसलिए कर रहे हैं, क्योंकि छत्तीसगढ़ के डिप्टी सीएम विजय शर्मा ने कवर्धा में विजयी रैली के दौरान कहा था कि हाफ बिजली बिल योजना बंद होगी। ये बयान जैसे ही सोशल मीडिया पर वायरल हुआ, वैसे ही हाफ बिजली बिल योजना का फायदा ले रहे, उपभोक्ता परेशान हो गए।
उपभोक्ताओं ने बीजेपी नेताओं से अपील की है, कि इस योजना को बंद करने की बजाए अपग्रेड करके संशोधन किया जाना चाहिए। इस योजना से हमें राहत मिली है और महंगाई के इस दौर में घर का बजट नहीं बिगड़ा है।
उपभोक्ताओं को 4 हजार 300 करोड़ का फायदा मिला
पावर कंपनी के अधिकारियों के मुताबिक प्रदेश के अलग-अलग जिलों में पावर कंपनी के 61 लाख उपभोक्ता हैं। इनमें से घरेलू उपभोक्ता 57 लाख हैं। इनमें से 48 लाख से ज्यादा उपभोक्ताओं को हाफ बिजली बिल योजना का फायदा मिल रहा है। इन उपभोक्ताओं को बीते 5 साल में हाफ बिजली बिल योजना के तहत 4 हजार 300 करोड़ का फायदा मिला।
के विकल्पों पर चर्चा की गई है। बिजली कंपनी के अधिकारियों ने इस बात की पुष्टि भी की है।