कोरबा। कोर्ट में सरकारी नौकरी लगवाने के नाम पर कोरबा का एक युवक और उसका मित्र ठगी का शिकार हुए तो दूसरी तरफ कोरबा के एक युवक ने कलेक्ट्रेट में नौकरी लगवाने ठगा। दोनों मामले के आरोपी गिरफ्तार कर जेल भेज दिए गए हैं।
दीपका पुलिस ने न्यायालय में बाबू की नौकरी लगवाने में मामले में दर्ज रिपोर्ट पर आरोपी तथाकथित महिला अधिवक्ता सुमन सिंह राजपूत पिता चेतन सिंह 32 वर्ष और उसके भाई जय सिंह राजपूत 30 वर्ष दोनों निवासी बसंतपुर थाना कोतवाली जांजगीर-चांपा को गिरफ्तार कर कोरबा लाया गया। इनकी गिरफ्तारी दीपका थाना प्रभारी प्रेमचन्द पटेल के नेतृत्व में टीम ने बिलासपुर व जांजगीर से की है।
प्रेमचंद साहू ने बताया कि बाबू की नौकरी लगाने का झांसा देकर 4 लाख 50 हज़ार रूपए वसूलने की रिपोर्ट 07/12/2024 को प्रार्थी संजय दास द्वारा दर्ज कराया गया था। आरोपी सुमन सिंह द्वारा अपने भाई जय सिंह के साथ मिलकर प्रार्थी और उसके दोस्त का सरकारी नौकरी लगाने के नाम पर धोखाधड़ी किया था। नौकरी नहीं लगी तो लिए गए रुपये भी नहीं लौटाए गए जिससे ठगी का आभास होने पर थाना दीपका में अपराध क्रमांक 415/2024 धारा 420,34 भादवि का रिपोर्ट पंजीबद्ध कराया।
कोरबा से गिरफ्तार कर ले गई पुलिस
एक अन्य ठगी के आरोपी गोविंद सिंह धीरहे पिता संतोष धीरहे 35 वर्ष, निवासी ग्राम करूमौहा, चौकी रजगामार को सारंगढ़ जिला के सरसीवां थाना की पुलिस ने कोरबा जिला आकर गिरफ्तार किया।
ग्राम पेंड्रावन, थाना सरसीवा निवासी रूपेश कुमार बघेल के द्वारा 03.07. 2023 को थाना में रिपोर्ट दर्ज कराया गया था कि आरोपी गोविंद सिंह धीरहे के द्वारा उसको कलेक्ट्रेट सारंगढ़ में नौकरी लगा दूंगा बोलकर झांसे में लेकर 185000 रुपए लिया है। काफी समय बीत जाने के बाद भी नौकरी नहीं लगने पर और प्रार्थी के द्वारा पैसा वापस मांगने पर आरोपी के द्वारा पैसा नहीं दिया जा रहा था जिससे प्रार्थी को उसके साथ ठगी होने का एहसास हुआ। प्रार्थी की रिपोर्ट पर अपराध क्रमांक 231/23 धारा 420 आईपीसी के तहत मामला दर्ज कर आरोपी का पतासाजी किया जा रहा था। आरोपी काफी चालक है और उसके विरुद्ध कई थानों में और लोगों से ठगी करने की शिकायत होने के संबंध में सूचना मिली थी। इसी कड़ी में 08.12.2024 को थाना प्रभारी सरसीवा राजेश चन्द्रवंशी को मुखबिर से सूचना मिला कि आरोपी कोरबा के आसपास घूम रहा है। सूचना पर पुलिस टीम ने कोरबा आकर स्थानीय साइबर सेल के टीम के सहयोग से आरोपी गोविंद धीरहे को गिरफ्तार कर कर सरसीवा लाया। आरोपी को न्यायिक रिमांड हेतु न्यायालय भटगांव के समक्ष प्रस्तुत किया गया।