दिल्ली। भारत निर्वाचन आयोग (ECI) ने सोमवार, 27 अक्टूबर को प्रेस कॉन्फ्रेंस कर देश के 12 राज्यों में मतदाता सूची के Special Intensive Revision यानी SIR के दूसरे फेज की घोषणा की।
मुख्य चुनाव आयुक्त ज्ञानेश कुमार ने अन्य अधिकारियों के साथ मीडिया को संबोधित करते हुए कहा कि राजनीतिक दलों ने कई बार मतदाता सूची की सटीकता और क्वालिटी पर सवाल उठाए हैं, जिसके बाद आयोग ने यह कदम उठाने का निर्णय लिया है।
👉किन राज्यों में होगा SIR
चुनाव आयोग ने बताया कि SIR फेज 2 कुल 12 राज्यों में किया जाएगा। इनमें- छत्तीसगढ़, गोवा, गुजरात, केरल, लक्षद्वीप, मध्य प्रदेश, पुडुचेरी, राजस्थान, तमिलनाडु, उत्तर प्रदेश, पश्चिम बंगाल और अंडमान एंड निकोबार।
👉पात्र मतादाता सूची में रहें
ज्ञानेश कुमार ने कहा कि चुनाव आयोग का उद्देश्य है कि हर एलिजिबल नागरिक का नाम मतदाता सूची में सही तरीके से दर्ज हो और किसी भी व्यक्ति का नाम गलती से जोड़ा या हटाया न जाए। उन्होंने कहा, “SIR का मुख्य मकसद यह सुनिश्चित करना है कि हर योग्य मतदाता को मतदान का अधिकार मिल सके और कोई भी नागरिक वोट देने के अवसर से वंचित न रहे।
👉सभी राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों के अधिकारियों से चर्चा

मुख्य चुनाव आयुक्त ने बताया कि आयोग ने देश के सभी 36 राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों के चुनाव अधिकारियों से बैठक की है, ताकि SIR की प्रक्रिया को पारदर्शी और प्रभावी तरीके से लागू किया जा सके। उन्होंने बिहार के मतदाताओं की सराहना करते हुए कहा, “मैं बिहार के 7.5 करोड़ मतदाताओं को शुभकामनाएं देता हूं और उनके सफल SIR में भाग लेने के लिए उन्हें नमन करता हूं। ” ज्ञानेश कुमार ने यह भी बताया कि वर्तमान में चल रहा यह SIR अभ्यास स्वतंत्रता के बाद से नौवां है। पिछली बार ऐसा व्यापक पुनरीक्षण 2002 से 2004 के बीच किया गया था।
👉मतदाता सूची आज रात से फ्रीज, नया फॉर्म मिलेगा
मुख्य चुनाव आयुक्त ने बताया कि जिन 12 राज्यों में यह विशेष पुनरीक्षण किया जाएगा, वहां की मतदाता सूचियां आज रात 12 बजे से फ्रीज कर दी जाएंगी। इसके बाद हर मतदाता को एक खास एन्यूमरेशन फॉर्म दिया जाएगा, जिसमें उनकी व्यक्तिगत जानकारी, निर्वाचन क्षेत्र और मतदान केंद्र से जुड़ी सभी जानकारियां होंगी। आयोग ने सभी मुख्य निर्वाचन अधिकारियों और जिला निर्वाचन अधिकारियों को निर्देश दिया है कि वे अगले दो दिनों के भीतर सभी राजनीतिक दलों से मिलें और उन्हें SIR की पूरी प्रक्रिया की जानकारी दें।
👉प्रशिक्षण और फॉर्म भरने की नई प्रक्रिया
ज्ञानेश कुमार ने बताया कि SIR के दूसरे चरण के लिए मतदान कर्मियों का प्रशिक्षण मंगलवार, 28 अक्टूबर से शुरू किया जाएगा। उन्होंने कहा कि बूथ स्तर अधिकारी (BLOs) हर घर तीन बार दौरा करेंगे, ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि कोई भी पात्र मतदाता छूट न जाए। जो मतदाता किसी दूसरी जगह पर माइग्रेट हो चुके हैं, वे अब अपना एन्यूमरेशन फॉर्म ऑनलाइन भी जमा कर सकते हैं। आयोग ने बताया कि यह नया फॉर्म पहले से भरी गई जानकारी जैसे- नाम, निर्वाचन क्षेत्र, बूथ नंबर और पुराना फोटो के साथ उपलब्ध कराया जाएगा।
👉चुनाव आयोग ने असम में क्यों नहीं SIR कराने का ऐलान? ये है वजह
असम में भी अगले साल विधानसभा चुनाव हैं, लेकिन वहां SIR का ऐलान नहीं किया गया है। इसको लेकर सीईसी ज्ञानेश कुमार ने बताया कि भारतीय नागरिकता कानून में असम की नागरिकता के लिए अलग कानून है। इसलिए असम के लिए अलग से SIR के आदेश जारी किए जाएंगे। वहीं, पश्चिम बंगाल में SIR को लेकर गतिरोध के सवाल पर चुनाव आयोग ने कहा कि वहां कोई गतिरोध नहीं है। संविधान के अंदर सभी संस्थाएं अपने अपने दायित्व का पालन करती है। चुनाव आयोग अपने दायित्व का पालन कर रहा है वहां की सरकार अपने दायित्व का पालन कर रही है।
👉क्या है SIR की प्रक्रिया?
SIR की प्रक्रिया के तहत सबसे पहले इन्यूमेरेशन फॉर्म (Enumeration Forms) प्रिंट किए जाएंगे। जिन राज्यों में यह विशेष गहन पुनरीक्षण चल रहा है, उनकी मतदाता सूची आज रात फ्रीज कर दी जाएगी। इसके बाद हर मतदाता को यह फॉर्म घर पर दिया जाएगा। जब बीएलओ (BLO) घर-घर जाकर फॉर्म देंगे, तो वे उसमें दर्ज नाम का मिलान 2003 की मतदाता सूची से करेंगे। अगर नाम और माता-पिता के नाम का विवरण सूची से मेल खाता है, तो मतदाता को कोई दस्तावेज देने की जरूरत नहीं होगी।
