दिल्ली। नामांकन के आखिरी दिन कांग्रेस ने उत्तर प्रदेश की रायबरेली और अमेठी लोकसभा सीट पर अपने उम्मीदवारों का एलान कर दिया। इन दोनों सीटों पर नामांकन का आखिरी दिन आज यानी शुक्रवार को ही है। ऐसे में ऐन वक्त पर पार्टी ने तय किया है कि राहुल गांधी रायबरेली और किशोरी लाल शर्मा अमेठी लोकसभा सीट से चुनावी मैदान में होंगे। केएल शर्मा, सोनिया गांधी के प्रतिनिधि रह चुके हैं। इसी के साथ प्रियंका गांधी के चुनाव लड़ने की अटकलों पर विराम लग गया। कांग्रेस ने शुक्रवार सुबह इसकी आधिकारिक घोषणा की।
2019 के लोकसभा चुनाव में राहुल गांधी अमेठी में स्मृति ईरानी से हार गए थे, जबकि रायबरेली से सोनिया गांधी जीती थीं, लेकिन इस बार उन्होंने चुनाव नहीं लड़ने का फैसला किया। वे अब राज्यसभा सदस्य हैं। वहीं, राहुल गांधी केरल की वायनाड लोकसभा सीट से भी चुनाव लड़ रहे हैं। पिछली बार वे वायनाड से ही जीते थे। वायनाड में मतदान हो चुका है। अमेठी और रायबरेली में 20 मई को मतदान है।
आज नामांकन की अंतिम तारीख
अमेठी और रायबरेली में 26 अप्रैल से नामांकन प्रक्रिया शुरू हो गई है। इसकी आखिरी तारीख 3 मई है। भारतीय जनता पार्टी ने केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी को अमेठी से एक बार फिर उम्मीदवार घोषित किया है। स्मृति ने 29 अप्रैल को अपना नामांकन पत्र भी दाखिल किया था। वहीं, भाजपा ने रायबरेली से दिनेश प्रताप सिंह को टिकट दिया है।
नामांकन दाखिल करने के दौरान सोनिया गांधी रहेंगी मौजूद
नामांकन पत्र दाखिल करने के आखिरी दिन कांग्रेस ने अमेठी और रायबरेली सीट से उम्मीदवारों का ऐलान किया है। ऐसे में एबीपी न्यूज़ को सूत्रों ने बताया कि सोनिया गांधी अपने बेटे और कांग्रेस नेता राहुल गांधी के साथ नामांकन के समय मौजूद रहेंगी। वहीं केएल शर्मा के नामांकन के दौरान उनके साथ सोनिया गांधी के प्रतिनिधि मौजूद रह सकते हैं।
अमेठी और रायबरेली गांधी परिवार के पारंपरिक क्षेत्र माने जाते हैं। ऐसे में राजनीतिक गलियारों में चर्चा शुरू हो गई कि आखिर किशोरी लाल शर्मा कौन हैं, जिन्हें कांग्रेस ने अमेठी से चुनावी मैदान में उतारा है।
जानें कौन हैं किशोरी लाल शर्मा
अमेठी सीट से कांग्रेस के प्रत्याशी किशोरी लाल शर्मा की पहचान सोनिया गांधी के करीबी नेता के रूप में रही है। मूल रूप से पंजाब के लुधियाना के रहने वाले केएल शर्मा लंबे समय से रायबरेली में सोनिया गांधी के सांसद प्रतिनिधि के रूप में काम करते आए हैं।
करीब चार दशक से अमेठी-रायबरेली में संगठन का काम कर रहे केएल शर्मा को इन दो जिलों की एक–एक गली मालूम है और हर कांग्रेसी इन्हें जानता है। राजीव गांधी के जमाने में इन्हें सरकार के काम का प्रचार प्रसार करने यूपी भेजा गया और तब से यहां के ही होकर रह गए।
बीते 25 सालों से अमेठी और रायबरेली में गांधी परिवार खास तौर पर सोनिया गांधी के नामांकन से लेकर प्रचार के कमान संभालते आए हैं। 2004 में जब राहुल गांधी ने पहली बार अमेठी से पर्चा भरा था तो केएल वहां मौजूद थे। अब 20 साल बाद उसी अमेठी से वो राहुल गांधी की जगह चुनाव लड़ने जा रहे हैं।
राहुल गांधी अमेठी तीन बार रहे हैं सांसद
राहुल गांधी 2004 से लगातार तीन बार अमेठी से सांसद रहे हैं, लेकिन वह 2019 में बीजेपी की नेता स्मृति ईरानी से चुनाव हार गए थे। राहुल गांधी वर्तमान में केरल के वायनाड से सांसद हैं और उन्होंने इस सीट पर 2019 के लोकसभा चुनाव में जीत दर्ज की थी। इस बार भी राहुल गांधी वायनाड से चुनाव मैदान में हैं।
वहीं 2004 से 2024 तक रायबरेली निर्वाचन क्षेत्र का प्रतिनिधित्व सोनिया गांधी ने किया, लेकिन इससे पहले सोनिया गांधी ने अमेठी सीट का प्रतिनिधित्व किया था और उन्होंने 1999 में पहली बार चुनाव लड़ा था।