मंत्री कोटे में महज 6 किसानों के लिए खोले गए दादरखुर्द का धान उपार्जन केंद्र नकटीखार होगा शिफ्ट!किसानों के धान नहीं बेचने के ऐलान ,ननकी के तेवर से सहमी सरकार,खाद्य विभाग से मांगा अभिमत

बोले किसान 8 से 10 किलोमीटर तक का सफर तय कर धान बेचने नहीं जाना चाहते शहर ,334 किसानों की अनदेखी कर 6 किसानों के लिए खोल दिया गया है उपार्जन केंद्र

हसदेव एक्सप्रेस न्यूज कोरबा(भुवनेश्वर महतो )।10 खेतिहर गांवों के 334 किसानों को नजरअंदाज कर मंत्री कोटे में महज 6 किसानों के लिए शहर के दादरखुर्द में बनाए गए धान उपार्जन केन्द्र को लेकर इस बार शासन प्रशासन को जनाक्रोश का सामना करना पड़ेगा।धान खरीदी शुरू होने से पूर्व किसानों ने चबूतरा गोदाम सहित सारी तैयारियों के साथ प्रस्तावित नकटीखार में उपार्जन केंद्र नहीं खोले जाने पर धान नहीं बेचने की चेतावनी दी है। इधर प्रदेश के पूर्व गृहमंत्री रामपुर विधायक ननकीराम कंवर के तेवर के बाद घबराए खाद्य नागरिक आपूर्ति एवं उपभोक्ता संरक्षण विभाग के अवर सचिव ने दादरखुर्द को परिवर्तन कर नकटी खार को उपार्जन केंद्र बनाए जाने खाद्य विभाग से अभिमत मांगा है। खाद्य विभाग ने इसकी कवायद शुरू कर दी है।

यहाँ बताना होगा कि गत वर्ष शहर से लगे दारदखुर्द को शासन ने नया धान उपार्जन केंद्र बना दिया है। सोनपुरी समिति के अंतर्गत यह उपार्जन केंद्र बना है। इस उपार्जन केंद्र के अंतर्गत नकटीखार ,ढेलवाडीह,बुंदेली,गोढ़ी,करुमौहा, पंडरीपानी,रिसदी ,झगरहा, डूमरडीह एवं भुलसीडीह के 334 किसान आते हैं। करीब एक दशक पूर्व 2012 -13 में नकटी खार में धान उपार्जन केंद्र बनाए जाने कवायद की थी। बकायदा वहाँ लाखों की लागत से गोदाम एवं चबूतरा भी तैयार किया जा चुका है। जो अब खंडहर में तब्दील हो रहे। लिहाजा किसानों में यह आश बंधी थी कि जब भी नए उपार्जन केंद्र की सौगात मिलेगी नकटीखार का उसमें प्राथमिकता से नाम होगा। लेकिन गत वर्ष बिना प्रस्ताव भेजे ,जमीन की उपलब्धता ,गोदाम ,चबूतरा के बगैर महज 6 किसानों के लिए मंत्री कोटे में दादरखुर्द में शासन ने नए धान उपार्जन केंद्र की स्वीकृति दे दी। जिसको लेकर जिला प्रशासन सहित सम्बंधित विभाग के आला अधिकारी भी हैरान थे। आनन फानन में खुले मैदान में धान खरीदी की तैयारी करनी पड़ी । किसान भी मायूस हो गए।उन्हें 8 से 10 किलोमीटर तक का अतिरिक्त सफर तय कर भांडा खर्चा उठा दादरखुर्द धान बेचने जाना पड़ा। जिसे देखते हुए इस साल धान खरीदी शुरू होने से पूर्व किसानों ने इसका विरोध शुरू कर दिया है। 15 सितंबर को किसानों को कार्यालय कलेक्टर खाद्य शाखा को ज्ञापन सौंप किसान हित में उपार्जन स्थल नकटीखार करने की मांग की थी । इन क्षेत्रों में 334 किसान हैं,जिनके लिए नजदीकी सुविधाजनक दृष्टि से नकटीखार में उपार्जन केंद्र खोला जाना उचित था।लेकिन किसानों की मांग को तवज्जो नहीं दी गई। हमेशा की तरह पूर्व गृहमंत्री रामपुर विधायक ननकीराम कंवर अपने क्षेत्र के किसानों की समस्या के लिए मुखर हुए। उन्होंने नाराजगी जताते हुए खाद्य सचिव को नकटीखार में उपार्जन केंद्र खोले जाने का पत्र लिखा था। वहीं किसानों ने इस बार नकटी खार को उपार्जन केंद्र नहीं बनाने पर धान नहीं बेचने का मन बना लिया है। इस बीच प्रदेश के पूर्व गृहमंत्री रामपुर विधायक ननकीराम कंवर के तेवर के बाद घबराए खाद्य नागरिक आपूर्ति एवं उपभोक्ता संरक्षण विभाग के अवर सचिव ने दादरखुर्द को परिवर्तन कर नकटी खार को उपार्जन केंद्र बनाए जाने खाद्य विभाग से अभिमत मांगा है।चचिया के लिए भी अभिमत मांगा गया है। खाद्य विभाग ने इसकी कवायद शुरू कर दी है।

खाद्य अधिकारी ने शासन के पत्राचार से किया इंकार ,बोला झूठ ,आखिर किसका दबाव

उक्त प्रकरण में खाद्य अधिकारी जे के सिंह से जब उनका पक्ष लिया गया तो उन्होंने शासन से अभिमत मांगे जाने संबंधी किसी भी प्रकार का पत्राचार नहीं होने की बात कही। उन्होंने दो टूक लहजे में कहा स्थानीय विधायक राजस्व मंत्री की सिफारिश दादरखुर्द में उपार्जन केंद्र खुला है जब तक वो नहीं चाहेंगे नकटीखार में उपार्जन केंद्र नहीं खुल सकता। उपार्जन केंद्र की स्वीकृति शासन ने दी है ,प्रशासन कुछ नहीं कर सकता। लेकिन खाद्य अधिकारी श्री सिंह के बयानों में सत्यता का अभाव है। शासन द्वारा जारी पत्र और खाद्य अधिकारी द्वारा उप पंजीयक सहकारी संस्थाएं ,नोडल अधिकारी जिला सहकारी केंद्रीय बैंक को 3 नवंबर को लिखा पत्र वायरल हो रहा है।

किसानों की सुनें

इतनी परेशानी नहीं उठा सकता ,नहीं बेचूंगा धान

मैं हर साल 100 क्विंटल से अधिक धान बेचता हूँ। उम्मीद की नकटी खार में धान उपार्जन केंद्र खुलेगा। लेकिन महज 6 किसानों के खातिर हम सभी किसानों की अनदेखी कर शहर में उपार्जन केंद खोल दिए। इस बार नकटी खार में उपार्जन केंद्र नहीं खुला तो धान नहीं बेचूंगा।

बाबूराम कंवर , ग्राम भालूसटका

नकटी खार की अनदेखी से हैं हैरान

यहाँ करीब 8 से 10 साल पूर्व गोदाम ,चबूतरा बनाया जा चुका है। लेकिन यहाँ की अनदेखी कर दादर में धान खरीदी केंद्र खोलने से हम सभी हैरान हैं। मुझे हर साल 30 -से 35 क्विंटल धान मिल जाता है लेकिन गत वर्ष ट्रेक्टर नहीं होने की वजह से धान नहीं बेच सका। उम्मीद है इस साल सरकार सुध लेगी।

रामलाल, नकटीखार