दंतेवाड़ा। अरनपुर नक्सली हमले में शहीद होने वाले 10 जवानों में बड़े गडरा ग्राम पंचायत के कवासी पारा के दो जवान भी शामिल थे। गुरूवार को गांव में जब एक साथ दो चिताओं को मुखाग्नि दी गई तो समूचा गांव रो पड़ा।
नक्सली हमले में इस गांव के राजू करटम और जगदीश कवासी की शहादत हुई। दोनों ही गोपनीय सैनिक थे। दोनों शहीद जवान एक ही मोहल्ले के रहने वाले थे। राजू करटम विवाहित था। गुरूवार को अंतिम विदाई के दौरान एक ऐसा लम्हा आया जब मौके पर मौजूद सभी लोगों की आंखें नम हो गई। दरअसल, राजू करटम के अंतिम संस्कार के वक्त उसकी पत्नी रेशमा चिता के ऊपर ही लेट कर विलाप करने लगी और मुझे भी साथ ले चलो कहकर जोर-जोर से रोने लगी। इस दृश्य को देखकर शमशान घाट में मौजूद हर किसी की आंखे छलक गई।
कड़ी सुरक्षा में हुआ अंतिम संस्कार
बता दें कि बड़े गडरा नक्सल प्रभावित क्षेत्र है, लिहाजा यहां कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के बीच जवानों की मौजूदगी में शहीद हुए जवानों का अंतिम संस्कार करवाया गया। दंतेवाड़ा जिले में हुए नक्सली हमले को लेकर माओवादियों का बयान सामने आया है। नक्सलियों की दरभा डिवीजन कमेटी ने प्रेस नोट जारी कर इस हमले की जिम्मेदारी ली है। दरभा डिवीजन कमेटी के सचिव साईंनाथ के हवाले से प्रेस विज्ञप्ति जारी की गई है, जिसमें नक्सलियों ने अरनपुर हमले को राज्य सरकार के हमलों का जवाब बताया है। वहीं इस हमले की जिम्मेदारी ली है। प्रेस नोट में नक्सलियों ने केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह पर आरोप भी लगया है। वहीं पुलिस और सुरक्षा बल के जवानों से की अपील भी की है।